जेटली जी को कौन नहीं जानता, वहीं अपने वित्त मंत्री, पर इस बार जेटली जी ने हिसाब-किताब छोड़कर चीन को सीधे-सीधे धमकी दी है और चीन में दहशत का माहौल बना हुआ है। जी हां, हाल ही में अपने वित्त मंत्री अरुण जेटली साहब ने चीन को ऐसी धमकी दी है कि चीन घबरा गया है। जैसा की आप जानते ही हैं कि वर्तमान में जेटली जी और GST दोनों ही एक दूसरे का पर्याय हो चुके हैं और दूसरी ओर चीन भी लगातार अरुणाचल पर कब्जा करने के नए-नए तौर तरीके अपना रहा है। इस दौरान ही जेटली जी ने चीन को धमकी देते हुए कहा कि
“अरुणाचल से जल्दी ही पीछे हट जाओ वरना GST फेंक कर मार दूंगा और छटी का दूध याद आ जायेगा।”
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जेटली की इस धमकी के बाद चीन बुरी तरह घबरा गया है और वह समझ नहीं पा रहा है कि आखिर यह GST क्या बला है। इस धमकी के बाद चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने तुरंत ही राष्ट्रीय सुरक्षा काउंसिल की बैठक बुलाई और GST को जानने का प्रयास किया। शी ने चीनी रक्षा मंत्री से GST का पता लगाने को कहा। इस पर चीनी रक्षा मंत्री “मार खान सुंग” ने कहा कि “हम समझते थे कि मोदी सरकार बीफ और गाय में ही अटकी रहेगी और मोदी जी विदेशी ट्रेवल, पर लेकिन शायद ये इन लोगों की चाल थी और इन लोगों ने इस बीच GST नामक कोई बड़ा घातक बम बना लिया है, जिसको जेटली हर समय अपने ब्रीफकेस में रखें रहते हैं”।, आगे सिर झुकाते हुए मार खान सुंग ने कहा कि “जेटली के पास मैंने भारत के अपने गुप्तचरों को इस GST और छटी के दूध के बारे में पता लगाने को भेज दिया था, पर सर, हमारा कोई भी विद्वान इस GST को अभी तक नहीं समझ पाया”।
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दूसरी ओर चीनी मीडिया भी जेटली की इस धमकी के बाद काफी घबरा गई है और जेटली जी के ब्रीफकेस को बार-बार टीवी पर दिखा कर कह रही कि “इसमें है दुनियां का सबसे बड़ा बम, जिसका नाम है GST, कुछ चीनी मीडिया चैनल यह भी कह रहें हैं कि जेटली का असल नाम “जेट ली” है और इनके पूर्वज चीन से ही थे। जिस प्रकार से ब्रूस ली, ब्रेड ली हैं, उसी प्रकार से असल में ये “जेट ली” हैं। चीन को बेखौफ धमकी देना इनके अंदर में चीनी लोगों की बहादुरी वाले गुण को दिखाता है।”
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चीनी रक्षा मंत्री “मार खान सुंग” ने भी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से यह कहा है कि जब तक हम लोग GST को नहीं समझ जाते तब तक आप अरुणाचल से अपने सैनिकों को वापस बुला लें, इसी में फायदा है वरना कहीं जेटली अपना ब्रीफकेस चीन के ऊपर न फेंक मारे और कहीं हमारा हाल वहीं न हो जाए, जो दूसरे विश्व युद्ध में जापान का हुआ था। शी जिनपिंग ने इस सभा के बाद अरुणाचल से अपने सैनिकों को हटने के आदेश जारी कर दिए हैं और इधर भारत में मोदी जी दुनिया का नक्शा लिए बैठे हैं और ऐसे देशों की लिस्ट बनाने में व्यस्त हैं जिनमें अभी तक वे नहीं जा पाएं हैं।
विशेष नोट- इस तरह के आलेख से हमारा उद्देश्य केवल आपका मंनोरंजन करना है। इसमें मौजूद नाम और राजनीतिक पार्टियों की छवि को धूमिल करना हमारा उद्देश्य नहीं है। साथ ही इसमें बताया गया घटनाक्रम मात्र काल्पनिक है। अगर इससे कोई आहत होता है तो हमें बेहद खेद हैं।