देश की राजनीति में आए दिन किसी न किसी मुद्दे को लेकर विवाद छिड़ा ही रहता है। इन दिनों पंजाब की राजधानी चंडीगढ़ में एयरपोर्ट के नाम को लेकर सियासी माहौल गर्म हो चुका है। सभी दलों के कार्यकर्ता चंडीगढ़ इंटरनेशनल एयरपोर्ट के नाम को लेकर सड़कों पर उतर गए हैं। वहीं, कई राजनीतिक पार्टी इस एयरपोर्ट के लिए अपने-अपने नामों के सुझाव भी देने लग गई है।
चंडीगढ़ में यूथ कांग्रेस वर्कर्स ने चंडीगढ़ इंटरनेशनल एयरपोर्ट के नाम को शहीद भगत सिंह के नाम पर रखने के लिए रैली का आयोजन किया। इस रैली में महिलाएं भी शामिल हुईं। पंजाब यूथ कांग्रेस की ओर से इस रैली की शुरूआत भगत सिंह के पैतृक गांव खटकड़ कलां से की गई थी। वहीं, इस रैली का समापन चंडीगढ़ इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर होना तय किया गया था। पार्टी कार्यकर्ताओं ने रैली की शुरूआत चार जनवरी से की है। शुक्रवार को पुलिस ने इन कार्यकर्ताओं को रोकने के लिए लाठियां चलाई। साथ ही वाटर कैनन की मदद से सभी को अलग कर दिया। पुलिस के साथ चली इस झड़प में तीस कार्यकर्ता चोटिल हो गए।
वहीं, दूसरी ओर पंजाब के उद्योग मंत्री मदन मित्तल ने मोहाली अतंर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के नाम पर बयान देकर विवाद को और हवा दे दी। इनका कहना है कि मोहाली के हवाई अड्डे का नाम स्वतंत्रता सेनानी लाला लाजपत राय के नाम पर रखा पर जाए।
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इसके अलावा शिरोमणि अकाली दल के महासचिव प्रोफेसर प्रेम सिंह चंदूमाजरा का कहना है कि एयरपोर्ट के नाम के लिए शहीद भगत सिंह के नाम पर सहमति हो चुकी है। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि केंद्र सरकार इस फैसले पर अंतिम रूप देने वाली है। कांग्रेस इस विषय पर विवाद खड़ा कर इसका श्रेय लेने की कोशिश कर रही है।
पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने पहले ही इस एयरपोर्ट का नाम क्रांतिकारी शहीद भगत सिंह के नाम पर रखे जाने की मांग की थी। वहीं, आज जानकारी मिल रही है कि सरकार एयरपोर्ट के नाम किसी व्यक्ति के नाम पर न रखकर शहरों के नाम पर रखने का विचार कर रही है।