जिसका जन्म हुआ हैं उसकी मृत्यु भी निश्चित ही हैं। यह बात गीता में प्रामाणिक तौर पर बहुत पहले ही कह दी गई थी। इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता की मरने वाला कौन था या कहां से था। कुल मिलाकर बात इतनी हैं कि यदि जीवन मिला हैं तो उसका खात्मा भी अवश्य ही होगा। आप कहां से हैं, क्या करते हैं। इन सभी बातों का प्रभाव आपके जीवन के पहिये पर नहीं पड़ता हैं। वह अपनी निरंतर अपनी गति से चलता रहता हैं।
अंत में मौत का समय आ पहुँचता हैं और व्यक्ति घबरा जाता हैं, पर हिंदू धर्म के प्राचीन ऋषियों ने अपने आध्यात्मिक अनुभव के आधार पर यह बताया हैं कि मौत अचानक कभी नहीं आती हैं। मौत आने से पहले आपका शरीर कुछ विशेष संकेत देता हैं। इन लोगों ने इन सभी संकेतों को अपनी प्राचीन पुस्तकों में लिपिबद्ध करके रखा था ताकि उनका यह अनुभव आगे आने वाली पीढ़ियों के लिए मार्गदर्शक का कार्य करें। आइये अब आपको बताते हैं, मौत से पहले शरीर द्वारा दिए जाने वाले इन संकेतों के बारे में।
ये हैं गुप्त संकेत –
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1 – यदि किसी व्यक्ति की त्वचा का रंग अचानक ही हल्का लाल, सफ़ेद अथवा पीला हो जाता हैं तो उसकी मृत्यु 6 माह में हो जाती हैं।
2 – किसी व्यक्ति के शरीर से यदि लाश की तरह बदबू आनी शुरू हो जाती हैं तो महज 15 दिन में ही उसकी मौत हो जाती हैं।
3 – यदि किसी व्यक्ति का बांया हाथ 7 दिन तक लगातार स्वयं ही हिलता रहता हैं तो महज एक माह में ही ऐसे व्यक्ति की मौत हो जाती हैं।
4 – यदि मूत्र करते समय व्यक्ति को हिचकी आती हैं और वह किसी कारण किसी वस्तु का स्वाद और खुशबू महसूस न कर पाएं तो उसकी मौत जल्दी ही हो जाती हैं।
5 – यदि व्यक्ति की जीभ स्वयं ही मोटी हो जाती हैं और उसके दांतों के बीच चिकना पदार्थ दिखाई पड़ने लगता हैं तो महज 6 माह में उसकी मौत हो जाती हैं। इसके अलावा यदि बिना कारण के आंखों से आंसू आने लगें या सिर के ऊपर भाप जैसी उठती महसूस हो तो वह व्यक्ति शाम ढलने तक ही मृत्यु को प्राप्त हो जाता हैं।