क्रिकेट के मैदान में चोट लगना और सही होकर फिर से खेल में जुट जाना बहुत आम बात है, पर असल लाइफ में ऐसा होना अपने में बहुत मायने रखता है। आज हम आपको बता रहे हैं कुछ ऐसे क्रिकेट खिलाड़ियों के बारे में जिन्होंने जिंदगी की पिच पर मौत को आउट कर अपने जीवन की नई पारी की शुरूआत की है।
1- मुथैया मुरलीधरन- सुनामी
मुथैया मुरलीधरन एक ऐसे क्रिकेट खिलाड़ी हैं जो मौत से बाल-बाल बचे हैं। असल में मुथैया मुरलीधरन गरीब बच्चों को बल्ले बांटने के लिए एक प्रोग्राम में जा रहे थे पर अचानक दक्षिण एशिया में सुनामी आ गई और पुलिस ने मुथैया मुरलीधरन को रोक लिया। इस कारण मुरलीधरन की जान बच गई। जानकारी के लिए बता दें कि इस सुनामी में 21000 से ज्यादा लोगों की जान गई थी। उस समय मुरलीधरन ने बताया था कि वह उस स्थान से सिर्फ 20 मिनट की दूरी पर थे।
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2- युवराज सिंह- लंग कैंसर
सन् 2011 के वर्ल्ड कप के बाद युवराज सिंह को अचानक कैंसर जैसी घातक बीमारी ने जकड़ लिया था। यह इनकी जिंदगी का बेहद अहम मोड़ था, लेकिन करीब 1 साल की दर्दनाक कीमियोथेरेपी के ट्रीटमेंट के बाद युवराज सिंह फिर से क्रिकेट के मैदान पर मौत को मात देकर वापस लौटे। युवराज सिंह न केवल आईपीएल के 8वें सीजन में सबसे महंगे खिलाड़ी साबित हुए बल्कि उन्होंने टी-20 और वन डे मैच में भी दमदार वापसी की।
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3- जयप्रकाश यादव- कैंसर ट्यूमर
जयप्रकाश यादव जो कि भारतीय क्रिकेट टीम के आलराउंडर रहे हैं, उनको सन् 2000 में कैंसर ट्यूमर का पता चला था। उस समय इनकी उम्र सिर्फ 21 साल थी। ट्रीटमेंट के दौरान डॉक्टर्स ने उनको खेलने से मना कर दिया था, पर 1 महीने की कीमोथैरेपी के बाद में ही उन्होंने मध्य प्रदेश के लिए क्रिकेट में वापसी की थी। जयप्रकाश यादव ने ट्यूमर की बीमारी से उबरने के बाद 12 वन डे मैच खेले।
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4 हनीफ मोहम्मद- लिवर कैंसर
हनीफ मोहम्मद पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर हैं। इनको लिवर कैंसर हो गया था। 2013 में ऑपरेशन कराने के बाद इन्होंने फिर से जिंदगी में वापसी की।
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5- माइकल क्लार्क- स्किन कैंसर
माइकल क्लार्क को स्किन कैंसर की बीमारी हो गई थी और उनको इसका पता 2005 में चला। अब उनके सामने 2 चीजें थी। एक तो उनको धूप से बचना था और दूसरे उनको क्रिकेट भी खेलना था, पर डॉक्टर्स ने धूप से बचने की सलाह दी थी। इस दौरान वह काफी चिंतित हो गए थे, पर अपने आत्मबल और दृढ़संकल्प से उन्होंने इस बीमारी पर आखिर विजय हासिल कर ही ली।