40डिग्री में खौलते खीर से नहाते है यहां के पुजारी

0
551

यूं तो आपने बाबाओं से जुड़े पाखंड़ो के बारे में सुना ही होगा कि वो अपने तंत्र मंत्र का जहर फैलाकर किस तरह से जनता को लूटने का प्रयास करते है। पर आज हम ऐसे बाबा के बारे में आपको बता रहे हैं जो अपनी तपस्या को पूरा करने के लिये हर वो खतरनाक चीजों का उपयोग करते है जिससे जान जानें का या फिर शरीर पर किसी प्रकार का जोखिम होने का खतरा हमेशा बना रहता है। बनारस के लक्सा स्थित सूरजकुंड नाम की जगह पर रहने वाला यह पुजारी अपनी दैविक शक्ति के द्वारा खौलते खीर में नहाने को हमेशा तैयार रहता है। जिसे देख वहां के मौजूद लोग इसे देवी का प्रताप या फिर आंखों का धोखा कहते है। मानव कल्याण और विश्व शांति के लिए आयोजित किये गये एक कार्यक्रम के दौरान इस बाबा ने आग पर चलकर देवी की अराधना की इसके अलावा 40 डिग्री के तापमान पर खौलते खीर से अपना शरीर धोया था।

खौलते घी में डाला हाथ

– इसके अलावा पं. भगत के नाम से प्रख्यात होने वाले इस बाबा नें खौलते घी पर हाथ डालकर पूड़ी को छानते हुये वहां पर मौजूद लोगों के बीच उछाल कर प्रसाद के रूप में बांट दिया। अब बाबा हवन कुंड की आग से अपने शरीर को शुद्ध कर गहरी तपस्या कर रहे है।

pujari1

सैकड़ों साल पुरानी है परंपरा

बाबा के द्वारा की जा रही ऐसी भक्ति का यह सिलसिला सैकड़ों साल पुरानी एक परंपरा से जुड़ा हुआ है जो मानवता के कल्याण की रक्षा के लिये की जाती रही है। इसके पहले इस तरह के अद्भुत काम को कृष्ण ने द्वापर युग में गोवर्धन पर्वत उठाकर शुरू किया था। अब यहां पर बाबा के समान की जा रही इस लीला के द्वारा पूरे किये जाते है जिसमें खुद ही ईश्वरीय शक्ति उनके शरीर के अंदर समा जाती है ऐसा वहां के लोगों का मानना है।

pujari2Image Source :http://i9.dainikbhaskar.com/

क्या कहते हैं श्रद्धालु

वहां पर मौजूद भक्त लोगों का कहना है जिससमय ढोल, नगाढ़ो के थाप भरे महालों में देवी की पूजा होती है उस समय पर शरीर में एक विशेष प्रकार की उर्जा समाहित हो जाती है। जिससे वहां के पुजारी खौलती घी में से पूड़ी को नंगे हाथों से छान कर प्रसाद बांटते है और गर्म खीर को अपने शरीर पर डालकर स्नान करते है। ये ईश्वरीय शक्ति है जिससे जलती आग का शरीर पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here