देखा जाए तो आज के जीवन में काफी सारी परेशानियां सिर्फ पैसे की कमी के चलते ही होती हैं और यदि आप भी दरिद्रता और गरीबी से परेशान है तो इसका इलाज आपको उत्तराखंड के एक गावं में आसानी जायेगा। इस गावं का नाम है “माणा गावं”, जी हां इस गावं में यदि आप रहने के लिए जाते हैं तो आपकी सारी गरीबी दूर हो जाएगी। असल में यहां रहने वाले लोगों का मानना है की इस गावं को भगवान शिव का आशीर्वाद है की जो भी इस गावं में आएगा उसकी सारी गरीबी दूर हो जाएगी। इसके अलावा इस गावं के लोगों का यह भी मानना है की इस गावं की भूमि पर ही बैठकर वेदव्यास जी ने गणेश जी के कहने पर महाभारत की रचना की थी। यहां के लोगों की मान्यता यह महाभारत के युद्ध के बाद में पांडव द्रोपदी सहित स्वर्ग को इसी रास्ते से होकर गुजरे थे। इस गावं के लोगों की माने तो गावं को “श्रापमुक्त भूमि” होने का वरदान भी प्राप्त है इसलिए योगों का कहना है की इस गावं में आने पर आपका हर प्रकार का श्राप भी दूर हो जाता है और आप हर प्रकार की परेशानी से दूर हो जाते हैं।
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यह गावं उत्तराखंड के चमोली जिले में स्थित देश का सबसे अंतिम गावं है। यहीं पर “माना” नामक एक दर्रा भी है जिसके जरिये ही वर्षों से भारत और तिब्बत के बीच व्यापार भी होता रहा है। उत्तराखंड संस्कृत अकादमी, हरिद्वार के उपाध्यक्ष पंडित नंद किशोर पुरोहित कहते हैं की “भोलेनाथ ने माणिक शाह को वरदान दिया कि माणा आने पर व्यक्ति की दरिद्रता दूर हो जाएगी। मणिभद्र भगवान से बृहस्पतिवार को धन की प्रार्थना करने से अगले बृहस्पतिवार तक धन मिल जाता है।