कई बार इस प्रकार की घटनाएं हमारे समाज में होती है, जिनकी असल वजह को न तो आम लोग समझ पातें हैं और न ही विज्ञान ऐसी घटनाओं को सही से परिभाषित कर पाता है। इस प्रकार की घटनाएं सामान्य मानव के लिए एक प्रकार का रहस्य बनकर ही रह जाती हैं इसलिए बहुत से लोग इस प्रकार की घटनाओं को अलौकिक मान लेते हैं और कई प्रकार के अंधविश्वास समाज में पैदा हो जाते हैं। आज हम आपको एक ऐसी ही घटना की जानकारी दे रहें हैं, जिसके कारण बहुत से लोगों में अंधविश्वास पैदा हो गया है। यह घटना है एक नवजात बच्चे की जो की पैदा होते ही उठ कर बैठ गया था, इस कारण इस बच्चे को बहुत से लोग आलौकिक बच्चा समझ रहें हैं। आइये जानते हैं इस घटना का पूरा विवरण।
यह घटना है बिहार राज्य के पूर्णिया जिले की, यहां स्थित मीरगंज पहाड़ टोला के रहने वाले नवीन गुनी की पत्नी ने कुछ दिनों पहले एक बच्चे को जन्म दिया था और यह बच्चा पैदा होने के समय ही उठ कर बैठ गया था, इस कारण यह काफी चर्चा में है। इसके अलावा इस बच्चे का चेहरा भी काफी अजीब है जो की सामान्य बच्चे की तरह नहीं लगता है। बहुत से लोग अपने अंधविश्वास के कारण इस बच्चे को आलौकिक मान रहें हैं और इस पर पैसे आदि चढ़ा रहें हैं, इस बच्चे को देखने के लिए लोग काफी दूर-दूर से आ रहें हैं।
दूसरी और डॉक्टर्स का कहना है की ” ऐसे बच्चों का जन्म जेनेटिकली डिसऑर्डर की वजह से होता है। भारत में 10 हजार में से एक बच्चा ऐसा पैदा होता है। डॉक्टर्स का यह भी कहना है कि ऐसे बच्चों का जीवन बहुत छोटा होता है। उन्होंने कहा कि ईश्वर का अवतार मानना एक अंधविश्वास है। इसमें चमत्कार जैसी कोई बात नहीं है। अगर जन्म से पहले सोनोग्राफी की गई होती तो यह गड़बड़ी पहले भी पता चल सकती थी।”