हाथ न होने पर भी जीवन के सभी काम पैरों से आसानी से कर लेता है यह व्यक्ति

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बहुत से लोग ऐसे होते हैं जो अपनी हिम्मत और जज्बे से अपने जीवन की हर समस्या को पीछे छोड़ देते हैं। आज हम आपको एक ऐसे ही शख्स के बारे में जानकारी दे रहें हैं, जो अपने जीवन के सभी कार्यों को आसानी से कर रहें हैं। आपको हम बता दें कि इस शख्स के दोनों हाथ जन्म से ही नहीं है, पर भी इस शख्स के जीवन में कोई समस्या नहीं आई। असल में इस शख्स ने अपने जज्बे से जीवन की सभी समस्याओं को पीछे छोड़ दिया।

This man does all his chores with legs because he does not have hands 1image source:

इस शख्स का नाम “मदनलाल” है। 45 वर्षीय मदनलाल हरियाणा के फतेहाबाद गांव में रहते हैं और दर्जी का व्यवसाय करते हैं। आपको इस बात को जानकर हैरानी होगी कि मदनलाल के दोनों हाथ जन्म से नहीं है, पर फिर भी मदनलाल दर्जी का काम बहुत अच्छे से कर लेते हैं। दोनों हाथ न होने पर भी मदनलाल अपने सभी कार्य कैसे कर लेते हैं यह आश्चर्य की बात है। मदनलाल आज दुनिया में सभी लोगों के लिए एक उद्धारण हैं, जो यह बताते हैं कि यदि आप में जीवन जीने की ललक हो, तो कोई भी समस्या आपका रास्ता नहीं रोक सकती है।

This man does all his chores with legs because he does not have hands 2image source:

मदनलाल के हाथ बचपन से नहीं थे, इसलिए वे कभी स्कूल नहीं जा पाएं। ऐसे में भी वे एक सफल जीवन जी रहें हैं। उन्होंने अब अपने पैरों को ही अपना हाथ बनाया हुआ है और वे सभी कार्य अपने पैरों से ही करते हैं। मदनलाल अपने दर्जी के कार्य से लेकर खाना बनाने तक बहुत से काम अपने पैरों से ही करते हैं। आपको हम बता दें कि समाज को विकलांगता के बारे में शिक्षित करने के लिए और यह बताने के लिए की विकलांगता अभिशाप नहीं है, मदनलाल को बहुत से सामाजिक कार्यों में मंच पर बुलाया जाता है। मदनलाल का कहना है कि मैं अपने परिवार पर बोझ नहीं हूं, बल्कि परिवार में भागीदार बन सभी का बोझ खुद उठाता हूं। मदनलाल उन सभी लोगों के लिए एक प्रेरणा स्तोत्र हैं, जो अपने जीवन में आई छोटी मोटी समस्याओं से ही घबरा जाते हैं। मदनलाल ने समाज को एक नया संदेश दिया है कि जीवन में संघर्ष है, पर यदि आप अपने जज्बे को कायम रखेंगे, तो जीत हमेशा आपकी ही होगी।

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किसी भी लेखक का संसार उसके विचार होते है, जिन्हे वो कागज़ पर कलम के माध्यम से प्रगट करता है। मुझे पढ़ना ही मुझे जानना है। श्री= [प्रेम,शांति, ऐश्वर्यता]

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