भगवान शिव के अनेक शिवालय आपने देखें होंगे, पर आज हम आपको एक ऐसे शिवालय के बारे में बता रहें हैं, जहां भगवान शिव को ही पानी में कैद कर रखा जाता है। जी हां, यह सच है और यह शिवालय भी अपने ही देश का है। इस शिवालय की यही खासियत है कि इसमें स्थापित भगवान शिव को ही लोगों द्वारा पानी में कैद किया जाता है। आइये आपको विस्तार से बताते हैं इस शिवालय के बारे में।
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वर्तमान में सावन का महिना चल रहा है और इस पावन महीने में शिव भक्त शिव पूजन में व्यस्त रहते हैं। इस महीने में शिव का अभिषेक बड़ी मात्रा में किया। लोग भगवान शिव के मंदिर में शिवलिंग का जलाभिषेक करते हैं, पर अपने देश में एक मंदिर ऐसा भी है जहां पर शिव भक्त शिव का जल से अभिषेक नहीं करते, बल्कि शिवलिंग को पूरी तरह से पानी में डुबा देते हैं। आज हम आपको इस मंदिर के बारे में ही बता रहें हैं। यह मंदिर एक शिवालय है जो कि मध्य प्रदेश के श्योपुर के क्षेत्र के सोंईकलां कस्बे में स्थित है। सोंईकलां कस्बे के स्थानीय निवासी इस मंदिर को 100 वर्ष से भी ज्यादा पुराना बताते हैं। प्रतिवर्ष सावन के पहले सोमवार को महिलाएं एवं अन्य श्रद्धालु इस मंदिर के शिवलिंग को पानी में डुबा देते हैं। इस कस्बे के लोग बताते हैं कि अच्छी पैदावार तथा सही बारिश के लिए भगवान शिव के इस मंदिर को पानी से भर दिया जाता है। शिवलिंग के साथ-साथ नंदी की प्रतिमा को भी पानी में डुबो दिया जाता है। यदि बारिश अच्छी होती है तब इस मंदिर के जल को सावन माह में ही निकाला जाता है, पर यदि बारिश सही से नहीं हो पाती है तो इस मंदिर में जल को इसी प्रकार से भरा ही छोड़ दिया जाता है। इस प्रकार से देखा जाएं तो भगवान शिव से सही पैदावार और बारिश की कामना के लिए ग्रामीण लोग इस कार्य को करते हैं।