देश के 6 शहरों पर पड़ा प्रदूषण का कहर, जाते समय रहे सावधान

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देश में अस्थमा की बढ़ती बीमारी के कारण बहुत से लोग अपनी अपनी गवा रहे है। अगर भारत की जाए तो हमारे देश में भी सांस की बीमारी से ग्रस्त लोगों की संख्या 3 करोड़ से अधिक है। इस समस्या का मुख्य कारण वातावरण में बढ़ रहा प्रदुषण माना जा रहा है। प्रदुषण नियंत्रण विभाग की ओर से देश के 6 शहरों को अंकित किया गया है, जहां प्रदूषण का स्तर काफी अधिक है। जिसके चलते इन शहरों में रहने वाले वह लोग जो सांस की परेशानी से जूझ रहें है, उन्हें खास सावधानियां बरतने की जरुरत है। देश की राजधानी दिल्ली की बात करें तो डब्लयू.एच.ओ की एक रिपोर्ट के मुताबिक हवा की गुणवत्ता का स्तर 0 से 50 के बीच होना चाहिए, वहीं दिल्ली एयर क्वालिटी 400 पर पहुंची हुई है जोकि एक जानलेवा स्तर है।

बीते वर्ष डब्लयू.एच.ओ द्वारा दुनिया भर के देशों में हवा की क्लालिटी चैक करने के लिए एक सर्वे किया गया था। इस सर्वे के बाद विभाग द्वारा 100 प्रदूषित देशो की सूचि जारी की गई जिसमे भारत का भी नाम था। इससे पता लगता है कि देश की हवा का स्तर कहा है। आज हम आपको देश के ऐसे 6 शहरों के बारे में बताने जा रहें है जहां पर हवा की क्वालिटी काफी बत्तर है, बशर्ते आपको इन शहरों में जाते समय सावधानी बरतनी चाहिए।

1- कैसे जानलेवा बन गई दिल्ली की हवा

कैसे जानलेवा बन गई दिल्ली की हवाImage source:

हवा की गुणवत्ता को मापने के ले PMI फिगर का इस्तेमाल किया जाता है। इसके मुताबिक दिल्ली की हवा में PM2.5 माइक्रोन्स की मात्रा काफी अधिक है, जो साफ बयान करती है राजधानी की हवा गुणवत्ता काफी बत्तर हो गई है। दिल्ली के बाद प्रदूषित शहरों की सुचि में फिरोजाबाद, कानपुर, पटना, अहमदाबाद, ग्वालियर और आगरा आते है।

2- क्या होता है PM2.5

क्या होता है PM2.5Image source:

PM2.5 का मतलब अधिकतर लोगों को नही पता होता। फिर्क मत कीजिए हम आपको बताते हैं कि इसे कैसे मापा जाता है। पी.एम का मतलब पर्टिकुलेट मीटर होता है और यह प्रदूषण के कणों के बारे में जानकारी देता है। जबकि इसके लिखी जाने वाली संख्या इसके आकार को दर्शाती है। ऐसे में PM2.5 की बात करें तो यह प्रदूषण के बेहद छोटे कणों के बारे में बता रहा है। ये कण इतने छोटे है कि यह इंसानों के एक बाल के 3 हिस्से जितने पतले हैं। इतने बारीक होने के चलते यह बड़ी ही आसानी से हमारे शरीर में प्रवेश कर जाते है और यही लोगों में अस्थमा जैसी बीमारियों का कारण बनते है।

3- शहरों की क्या ही बात करें

शहरों की क्या ही बात करेंImage source:

जैसा कि आप जानते हीं है कि फिरोजाबाद शहर अपनी रंगीन कांच की चूड़ियों के लिए पूरे भारत में मशहूर है, मगर इसी कांच के कारण शहर में प्रदुषण का स्तर बढ़ा है धीरे धीरे हवा में जहरीली गैसे मिल रही हैं जो लोगों में बीमारियों का कारण बन रही है।

आगरा देश का एक ऐसा शहर है जहां पर एसिड रेन तक हो चुकी है। शहर में बढ़ता प्रदुषण न सिर्फ लोगों की सेहत बल्कि यहां की शान ताजमहल की खूबसूरती पर भी फर्क डाल रहा है।

ग्वालियर मध्य प्रदेश राज्य के अंर्तगत आने वाला एक शहर है जो अपनी खराब हवा के चलते आज अर्तराष्ट्रीय स्तर पर चर्चा में है। इस शहर की हवा में टाक्सिर की मात्रा बढ़ने से लोगों को हार्ट अटैक जैसी बीमारियां हो रही है। जोकि एक बड़ा चिंता का विषय है।

पटाना की बात करें तो बिहार की राजधानी उपाधि रखने वाला यह शहर अब अपनी खराब हवा के लिए जाना जा रहा है। देश के सबसे प्रदूषित शहरों की सूचि में पटना का स्थान दूसरा है। यहां मौजूद इंडस्ट्री से निकलने वाला प्रदूषण यहां की हवा को बर्बाद कर रहा है। हालात इस कदर खराब हो गए हैं कि इस प्रदूषित हवा के कारण लोगों को गंभीर बीमारियां हो रही है।

कानपुर शहर में धूल कणों की अधिकता के कारण कई बार लोगों का सांस लेना दुर्भर हो जाता है। ग्रीन हाउस गैसों के कारण यह शहर अपनी हवा की क्वालिटी को लगभग खो चुका है। नतीजतन बीते कुछ समय में यहां लोगों के बीमार पड़ने की संख्या में बड़ी वृद्धि हुई है।

4- बचाव के तरीके

बचाव के तरीकेImage source:

बहरहाल हवा की क्वालिटी को बेहतर बनाने की प्रक्रिया तो बहुत लंबी है मगर जब तक हवा की गुणवत्ता दुरुस्त नही हो जाती तब तक आप खुद इसे वातावरण से बचा सकते है। इसके लिए कोशिश कीजिए कि जब भी बाहर जाए तो मुंह पर एंटी पोल्यूशन मास्क पहन ले।

shrikant vishnoi
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किसी भी लेखक का संसार उसके विचार होते है, जिन्हे वो कागज़ पर कलम के माध्यम से प्रगट करता है। मुझे पढ़ना ही मुझे जानना है। श्री= [प्रेम,शांति, ऐश्वर्यता]

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