कुछ ही दिनों पहले राष्ट्रपति की ओर से देश के कई क्षेत्रों से जुड़ी नामी हस्तियों को पद्मश्री अवॉर्ड दिया गया। इनमें से अधिकतर लोगों को हम लोग जानते ही थे, पर इनमें एक नाम ऐसा भी है जो तीसरी कक्षा पास है। बता दें कि इस व्यक्ति की खूबियां ऐसी हैं जो पढ़े लिखे लोगों को भी पीछे छोड़ देती हैं। लोक कवि रत्न के नाम से जाने जानें वाले हलधर नाग कोसली भाषा के प्रख्यात कवि हैं। जिसके चलते उन्हें इस पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।
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कौन हैं हलधर नाग-
ओडिशा के जिले बारगढ़ में जन्मे हलधर का बचपन बेहद ही मुश्किल दौर से गुजरा। बचपन में ही हलधर के पिता का निधन हो गया था। ऐसी स्थिति में वह तीसरी कक्षा तक ही पढ़ सके। पिता की मृत्यु के बाद से ही हलधर ने काम करना शुरू कर दिया। उन्होंने मिठाई की दुकान में काम करना शुरू किया। जहां पर वह बर्तन मांजते थे। इसके बाद उनके गांव के प्रधान ने उन्हें स्कूल में खाना बनाने के लिए काम दिलवा दिया। गांव में तेजी से स्कूल खुलने लगे और हलधर ने स्टेशनरी की दुकान कर ली। इसी के साथ हलधर ने 1990 में अपनी पहली कविता धोदे बरगच लिखी। हलधर ने अभी तक कई कविताएं और 20 महाकाव्य लिखे हैं।
साधारण व्यक्तित्व के हलधर को देखने पर लगता ही नहीं कि वह इतनी बड़ी शख्सियत होंगे। रोजमर्रा की जिंदगी में धोती और बनियान की पोशाक पहनने वाले कवि हलधर जब मंच पर आते हैं तो दर्शकों के मन को मोह लेते हैं।