आपने बहुत से बच्चों को देखा ही होगा उनका आहार सिर्फ मां का दूध या हल्का भोजन ही होता है पर क्या आपने कभी किसी ऐसी बच्ची को देखा है जो की भोजन में कांच या प्लास्टिक का प्रयोग करती है, इस बच्ची की वर्तमान में उम्र 8 वर्ष की है। यह बच्ची उन्नाव की निवासी है, इस बच्ची का नाम रीता है, बचपन में ही इस बच्ची की मां गुजर गई और पिता के आर्थिक हालात इतने खराब थी कि वह इस बच्ची के लिए दो समय का भोजन नहीं जुटा सकते थे, लेकिन भूख कहां यह सब देखती है, इसलिए अपना पेट भरने के लिए इस बच्ची ने बचपन से ही कांच तथा प्लास्टिक खाना शुरू कर दिया और अब भी यह बच्ची इन चीजों को कुछ इस प्रकार से खाती है जैसे ये चीजें उसका भोजन हो। इस प्रकार की चीजें खाने के बाद भी यह बच्ची वर्तमान में पूरी तरह स्वस्थ है और अपना जीवन जी रही है। इस बच्ची को देखकर सभी लोग चकित है।
उन्नाव के चकलवंसी गांव में यह रीता नामक बच्ची रहती है और आज भी यह लोहा, प्लास्टिक तथा कांच को आसानी से खा लेती है। जब रीता महज 4 वर्ष की थी तो इसकी मां का देहांत हो गया था और पिता के आर्थिक हालात सही नहीं थी, उस समय से ही रीता इन चीजों को भोजन के रूप में खाती आ रही है। रीता की बड़ी बहन छेदाना इस बारे में कहती है कि “मां के मरने के बाद रीता का पूरी तरह ख्याल न रख पाने का मलाल मेरे मन मे भी है, और मैं इस बात को मान रही हूं कि आज जो रीता की आदत बन चुकी है उसके लिए उसकी देखभाल मे कमी एक बड़ी वजह है।”, दूसरी और रीता के पड़ोसी सुरेंद्र कहते थे कि “जहां पिता रोजी रोटी की आस में घर से बाहर घूमता रहता था, तो वहीं रीता भूख मिटाने के लिए लोहा, ब्लेड और प्लास्टिक के कैसेट खाकर अपना गुजारा करती थी।”