हम सभी को अब तक यही लगता था कि पुराणों में वर्णित सभ्यताओं की जननी के नाम से जानी जाने वाली सरस्वती नदी सूखकर खत्म हो गई हैं। लेकिन हम आपको बता दें कि अभी कुछ समय पहले से ही हरियाणा सरकार ने खेतों के नीचे बह रही एक जल धारा की खुदाई करवाई थी, इस खुदाई में यह पता लगा कि यह रिवर बेड है। जब पानी के इन तत्वों और रिवर बेड के पत्थरों की जांच करवाई गई तो उनसे यह पता लगा कि यह नदी हिमालय से निकलने वाली नदियों में से एक है। सर्वे के मुताबिक यह नदी और कोई नहीं कई साल पहले लुप्त हुई सरस्वती नदी है।
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डेढ़ दो वर्ष पहले ही पुरातत्व विभाग ने खेतों के बीच धंसाव में एक नदी होने की संभावना जताई थी। जिसके बाद यहां खुदाई भी शुरू करवाई गई। ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि यह अंश सरस्वती नदी के ही हैं, अब देखना होगा कि सरस्वती नदी फिर से बहना शुरू हो पाएगी या नहीं।