आपने मस्जिदें काफी देखी ही होंगी, पर आप शायद इस मस्जिद के बारे में नहीं जानते होंगे, जहां से IIM अहमदाबाद ने अपना LOGO लिया है। इसीलिए आज हम आपको इस खास मस्जिद के बारे में ही बता रहें हैं। आपको जैसा कि पता ही होगा कि वर्तमान में जापानी पीएम शिंजो आबे भारत के दौरे पर आएं हैं और वे गुजरात के अहमदाबाद में रूके हुए हैं।
उनके इस प्रवास पर पीएम मोदी ने उनको गुजरात के कई स्थानों पर भी घुमाया। जापानी पीएम को जिन स्थानों पर घुमाया गया उनमें से एक “सिदी सैय्यद मस्जिद” भी थी। आपको हम बता दें कि यह मस्जिद 16वीं सदी की मस्जिद है और अहमदाबाद की ओल्ड सिटी में स्थित है।
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इस मस्जिद के बारे में हम आपको बता दें की इसका निर्माण सुल्तान शम्स-उद-दीन मुजफ्फर शाह तृतीय के सेनापति जनरल अहमद शाह बिलाल झजर खान के लोगों ने 1573 में निर्मित कराया था। इस वर्ष ही गुजरात से मुगल सल्तनत का खात्मा भी हो गया था। साल 1583 में यह मस्जिद निर्माणाधीन थी, पर इस वर्ष ही सिदी सैय्यद का निधन हो गया था, तब से आज तक यह मस्जिद उसी हालात में है।
सिदी सैय्यद के नाम पर ही इसका नाम “सिदी सैय्यद मस्जिद” पड़ गया। इस मस्जिद की सबसे बड़ी खासियत इसकी जालियां हैं। आपको हम बता दें कि इस मस्जिद की जालियां दुनिया भर में फेमस हैं। इस मस्जिद की जालियां पत्थर की नक्काशी से निर्मित की गई हैं, जो कि एक दूसरे से लिपटी पेड़ की शाखाओं को दर्शाती हैं। आपको हम बता दें कि इस मस्जिद की जालियों पर उकेरी गई यह डालियां ही वर्तमान में IIM अहमदाबाद ने अपने LOGO पर निर्मित कराई हैं।