भारत अपनी आर्थिक समृद्धि के कारण दुनिया भर के देशों की भीड़ में दसवां सबसे अमीर देश बन गया है। एक ओर देश में गरीबों की तादाद बढ़ती जा रही है, तो दूसरी और प्रति व्यक्ति आय में भी तेजी से इजाफा हो रहा है। वहीं, देश में कैपिटल ग्रोथ भी तेजी से हो रही। जिसके चलते एक सर्वे में भारत को दुनिया के दसवें अमीर देश की श्रेणी में रखा गया है।
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पिछले पंद्रह वर्षों के तुलनात्मक अध्ययन से सर्वे में भारत की इकोनॉमी और आर्थिक संपदा में दो सौ ग्यारह फिसदी की वृद्धि देखी गई है। यह सर्वे न्यू वर्ल्ड वेल्थ नामक संस्था से करवाया गया था। जिसमें भारत की ग्रोथ ने अमेरिका, चीन, जापान, फ्रांस, जर्मनी और ब्राजील को पीछे छोड़ दिया। वहीं, सर्वे में इंडोनेशिया ने 362, चीन ने 341, रूस ने 253 और ऑस्ट्रेलिया ने 248 फीसदी की वृद्धि देखी है, जबकि जापान में 39, अमेरिका में 41 और इंग्लैंड में 54 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई है।
सर्वे के अनुसार भारत के कुछ शहर तेजी से विकसित हो रहे हैं, जिसमें सन् 2004 से 2014 के बीच मुंबई के पुणे शहर की ग्रोथ 317 प्रतिशत रही जो एशिया पैसेफिक क्षेत्र में वियतनाम के शहर हो ची मिन्ह के बाद ग्रोथ करने वाला दूसरा शहर है। इसके अलावा पूरा मुंबई चैथे स्थान पर और हैदराबाद पांचवें पायदान पर आता है। भारत में प्रति व्यक्ति आय सन् 2000 में 900 डॉलर थी जो सन् 2015 में बढ़कर 2800 डॉलर हो गई। जिसकी वजह से भारत दुनिया का 10 वां सबसे समृद्ध देश बन गया है।