सूखे से देश में हाहाकार मचा हुआ है। 10 राज्य परेशान हैं, देश की करीबन 33 करोड़ जनता बेहाल है। सूखे को लेकर देश के सरकारी आंकड़े ही सिहरन पैदा करने के लिए काफी हैं। स्थिति बद से बदतर होती जा रही है। महाराष्ट्र के लातूर से शुरू हुआ पानी संकट अब देश के करीबन 14 राज्यों में फैल चुका है। अप्रैल के महीने में ही मई–जून जैसी गर्मी पड़ रही है, लेकिन देश की सत्ता में आसीन बीजेपी अपने इशरत जहां केस को पकड़े बैठी है और चिंता के घड़ियाली आंसू दिखा रही है। वहीं कांग्रेस भी उत्तराखंड उत्तराखंड खेलने में बिजी है और देश की संसद मौन है। ऐसे में अब आप इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि आखिर इस वक्त देश की प्यासी जनता किस परेशानी से गुजर रही होगी।
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खैर ये तो थी देश के सूखे की बात, लेकिन आज हम आपको इसी सूखे से जुड़ी एक बहुत बड़ी खबर बताने जा रहे हैं। जिसको जान कर सूखे की मार झेल रही जनता ये कहने को मजबूर हो उठेगी कि क्या यही थे सरकार के अच्छे दिनों के वादे, लेकिन उससे पहले आप ये जान लें कि एक तरफ जहां सूखे की मार झेल रही प्यासी जनता को पीने का पानी तक मुहैया नहीं हो पा रहा है वहीं दूसरी ओर महाराष्ट्र राज्य की एक ऐसी तस्वीर सामने आई है जिसको देखकर शायद लोगों को काफी गुस्सा भी आ सकता है।
दरअसल एक तरफ महाराष्ट्र जो कि जबरदस्त सूखे की चपेट में है, यहां कि सरकार अपने राज्य की जनता की प्यास को शांत करने के लिए पानी तक मुहैया नहीं करवा पा रही है, वहीं दूसरी ओर बेस्ट की बसों को पीने के पानी से धुलाई करने का मामला सामने आया है, जो कि आप तस्वीरों में भी साफ देख सकते हैं।
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बता दें कि महाराष्ट्र में बेस्ट बसों को धोने के लिए 70 हजार लीटर पीने का पानी रोजाना बर्बाद हो रहा है। हालांकि इन तस्वीरों के सामने आने के बाद बेस्ट प्रशासन ने पीने के पानी का इस्तेमाल ना करने के आदेश जारी कर दिय़े हैं। वहीं आपको बता दें कि इसके अलावा बॉम्बे हाईकोर्ट की औरंगाबाद बेंच ने भी मंगलवार को शराब के कारखानों में खर्च होने वाले पानी की आपूर्ति में 60% की कटौती करने का आदेश दिया है। इस मामले पर महाराष्ट्र के मराठवाड़ा क्षेत्र में पानी कटौती को लेकर काफी विवाद भी हुआ था, लेकिन इसका समर्थन शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने किया। वहीं इस कटौती को महाराष्ट्र सरकार की मंत्री पंकजा मुंडे ने आम लोगों के लिए नुकसानदेह करार दिया था।